इन वजहों से महिलाओं में बढ़ जाता है सडन कार्डियक अरेस्ट का खतरा, न करें इन्हें इग्नोर

Medical Mike Desk : सडन कार्डियक अरेस्ट दुनियाभर के लोगों के लिए एक चिंता का विषय बन गया है। अब हर उम्र के लोग इससे प्रभावित हो रहे हैं, चाहे उनका बैकग्राउंड या रिकॉर्ड्स कुछ भी हो। अनहेल्दी डाइट और लाइफस्टाइल इसमें सबसे बड़ा रोल निभा रहा है। ग्लोहबल रिसर्च पर गौर करें तो, सडन कार्डियक अरेस्ट के लगभग 40 फीसदी मामले महिलाओं से जुड़े देखे जा सकते हैं और उनके लक्षण भी काफी अलग हैं। यही वजह है कि इस बीमारी से जुड़े खतरों और संकेतों को समझना महिलाओं के लिए और भी ज्यादा जरूरी है।

सडन कार्डियक अरेस्ट क्या है?

सडन कार्डियक अरेस्ट वह स्थिति है, जिसमें दिल धड़कना बंद कर देता और ब्लड प्रेशर कम होने लगता है। जिसकी वजह से दिल के लिए ब्लड को पम्प करना मुश्किल हो जाता है। इससे मरीज को सांस लेने में बहुत तकलीफ होती है। अक्सर ऐसी स्थिति में मरीज बेहोश हो जाता है और समय पर इलाज न मिलने की वजह से मौत भी हो जाती है। महिलाओं के लिए यह समझना जरूरी है कि हाइपरटेंशन, मेनोपॉज़, डायबिटीज जैसी समस्याएं सडन कार्डियक अरेस्ट के खतरे को और ज्यादा बढ़ा सकती हैं।

मेनोपॉज़

मेनोपॉज़ महिलाओं के जीवन की एक अवस्था, है, जिसमें कई शारीरिक और मानसिक बदलाव होते हैं। यह महिलाओं के लिए एक मुश्किल वक्त हो सकता है। कई ग्लोवबल स्टडीज में पाया गया है कि मेनोपॉज़ की अवस्था और बढ़ी हुई कोरोनरी हार्ट डिजीज में गहरा कनेक्शन है, जिसमें कार्डियक अरेस्ट भी शामिल है। मेनोपॉज़ के दौरान और बाद में महिलाएं कई ऐसे लक्षणों का अनुभव करती हैं, जो सडन कार्डियक अरेस्ट के खतरे को बढ़ाने का काम करते हैं।

पीसीओडी

पीसीओडी वाली कईस महिलाओं में इंसुलिन रेजिस्टेंस होता है, जिससे शरीर में इंसुलिन जमा हो सकता है जिससे ब्लिड ग्लूकोज के नॉर्मल लेवल को बनाए रखना मुश्किल हो जाता है। रिसर्च के अनुसार, पीसीओएस से पीड़ित 35 प्रतिशत महिलाओं को प्री-डायबिटीज होता है और 10 प्रतिशत को 40 साल की उम्र तक डायबिटीज हो जाता है।

डायबिटीज और गर्भावस्था

डायबिटीज के चलते भी महिलाओं में कार्डियक अरेस्ट के बहुत ज्यादा मामले देखने को मिलते हैं। जिसमें से एक वजह जेस्टेशनल डायबिटीज भी है, जिसके बारे में बहुत कम लोग जानते हैं। जेस्टेशनल डायबिटीज कैसे फ्यूचर में हार्ट प्रॉब्लम्स की वजह बन सकता है। जेस्टेशनल डायबिटीज का शिकार महिलाओं को हार्ट अटैक और सडन कार्डियक अरेस्ट का खतरा आम महिलाओं की तुलना में 43 फीसदी ज्या‍दा हो जाता है।

हाइपरटेंशन

हाई ब्लंड प्रेशर या हाइपरटेंशन से भी कार्डियक अरेस्ट का खतरा काफी बढ़ जाता है खासकर महिलाओं में। सामान्य हाइपरटेंशन के मरीजों में अचानक मौत का जोखिम तीन गुना ज्यादा होता है।

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तनाव

महिलाओं में तनाव का स्तेर पुरुषों से लगभग 50 फीसदी ज्यादा होता है। अगर आप बहुत ज्यादा तनाव या चिंता से जूझ रही हैं जिसकी वजह से नींद नहीं आ रही, खाने का दिल नहीं कर रहा, तो तुरंत इसके उपायों पर ध्यान दें। जरूरत पड़े तो प्रोफेशनल गाइडेंस लेने में बिल्कुल न हिचकिचाएं।

Note :- इस लेख में उल्लेखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।

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